कोरोना पर नियंत्रण के लिए गायत्री परिवार ने यज्ञ कर किया आध्यात्मिक प्रयोग
बेगूसराय। अखिल विश्व गायत्री परिवार ने कोविड-19 के नाश के लिए एक अभिनव आध्यात्मिक प्रयोग करते हुए रविवार को पूरे विश्व के एक करोड़ घरों में बनाए गए यज्ञ कुंड में गायत्री मंत्र, महामृत्युंजय मंत्र, सूर्य मंत्र और वैश्वानर देव मंत्र की आहुति दी। इस दौरान पूर्णतया प्राकृतिक हवन सामग्री से बेगूसराय केेे करीब पांच हजार घरों में प्राण ऊर्जा का संचार, प्राण शक्ति की बढ़ोत्तरी और रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए हवन किया गया। हवन के बाद कुछ लोगों ने वृक्षारोपण भी किया जबकि कुछ लोग सोमवार को गंगा दशहरा के मौके पर वृक्षारोपण करेंगे। गायत्री परिवार के जिला संयोजक शैलेंद्र किशोर झुनझुन ने बताया की वैश्विक महामारी कोरोना के प्रभाव और भय से कोई भी अछूता नहीं है। भारत भूमि के महान ऋषियों ने प्राचीनकाल से ही वैज्ञानिक अध्यात्मवाद से प्रतिपादित प्रक्रिया यज्ञ के द्वारा घर, परिवार और प्रकृति के कण-कण को सेनेटाइज करने की विलक्षण प्रक्रिया बताई है। यज्ञ एक वैज्ञानिक और प्रभावी प्रक्रिया है जिसके द्वारा कई भयंकर बीमारियां और विषाणु -जीवाणु नष्ट होते हैं। यज्ञ में होमी गई हवन सामग्री, घी आदि के धुएं से हमारे प्राणों को बल मिलता है, रोग प्रतिरोशक क्षमता बढ़ती है और विभिन्न बिमारियों से रक्षा होती है। इसी प्रभाव के चलते गायत्री परिवार द्वारा 85 देशों में एक साथ दस लाख घरों में गायत्री यज्ञ द्वारा पूरे वातावरण को जीरो बजट में सेनेटाइज करने का महाप्रयोग किया गया है। यज्ञ में आहुति से आसपास रहने वाले लोगों का संरक्षण होगा। मंत्र और यज्ञ की ऊर्जा जहां तक जाएगी, उनका भी संरक्षण होगा, उनके भी प्राण शक्ति का अभिवर्धन होगा। जब-जब देश या दुनिया पर कोई संकट छाया, तब-तब युगऋषि पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य ने ऐसे सामूहिक आध्यात्मिक प्रयोग जप एवं यज्ञ कर धरती को सुरक्षा प्रदान की।
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