बेतिया में बंद असरदार, माले कार्यकर्ताओं ने  सड़क यातायात ठप्प किया

बेतिया में बंद असरदार, माले कार्यकर्ताओं ने सड़क यातायात ठप्प किया

Reported By BORDER NEWS MIRROR
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बेतिया। अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के आह्वान पर भाकपा-माले और उसके जन संगठन इनौस, आइसा, अखिल भारतीय किसान महासभा ने मोदी सरकार द्वारा लाए गए तीनों काला कृषि कानून रद्द करने, 2020 बिजली बिल वापस लेने, गन्ना मूल्य 400 रुपये  प्रति क्विंटल करने, पुराने गन्ना मूल्य का किसानों को अविलंब भुगतान करने, रिजेक्ट […]
बेतिया। अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के आह्वान पर भाकपा-माले और उसके जन संगठन इनौस, आइसा, अखिल भारतीय किसान महासभा ने मोदी सरकार द्वारा लाए गए तीनों काला कृषि कानून रद्द करने, 2020 बिजली बिल वापस लेने, गन्ना मूल्य 400 रुपये  प्रति क्विंटल करने, पुराने गन्ना मूल्य का किसानों को अविलंब भुगतान करने, रिजेक्ट वैरायटी का खेल बंद करने की मांग पर भाकपा माले, अखिल भारतीय किसान महासभा और ऑल इंडिया सेंट्रल काउंसिल एक्टू, इंकलाबी नौजवान सभा और आइसा ने पूरे जिला में प्रदर्शन कर भारत बंद को सफल बनाया।
 प्रदर्शनकारियों ने एनएच 727 व कलेक्ट्रेट गेट को जाम कर सभा किया, सभा को संबोधित करते हुए किसान महासभा के जिला संयोजक सुनील कुमार राव ने कहा कि मोदी सरकार द्वारा लाया गया तीनों काला कानून, 2020 बिजली बिल जो जन विरोधी है को रद्द करने की मांग किया, उनहोंने ने कहा कि नये कानून से किसान कंगाल हो जाएंगे, कारपेट कंपनीयाँ माले माल होगी, न्यूनतम समर्थन मूल्य गायब हो जाएंगे, अपने खेतों में काम करने वाले किसान उसी में मजदूर बनकर कंपनियों के गुलाम बन जाएंगे, मोदी सरकार अंबानी अडानी की कठपुतली बन गयी है, जो उनके फायदे के लिए काम कर रही है, दिल्ली को घेरने वाले किसानों के साथ मोदी सरकार को जो वार्ता करना चाहिए, लेकिन वार्ता का दिखावा कर रही है, किसानों को तरह-तरह से प्रताड़ित कर रही है, उन किसानों के समर्थन में एकजुटता जाहिर करने के लिए देशभर में किसान मजदूर छात्र युवा महिला व ट्रेड यूनियनों के लोग सड़कों पर उतरकर तीनों कृषि कला कानूनों को वापस लेने की मांग की है, ऐक्टू के जिला संयोजक रविन्द्र कुमार रवि ने कहा कि मोदी सरकार तानाशाही पर अडी है, तीनो कृषि विरोधी काला कानूनों के साथ ही मजदूरों के खिलाफ कानून पारित कर दिया गया है, हम उसकी खत्मा तक आंदोलन जारी रखेंगे, इनौस जिला संयोजक फरहान रजा ने कहा कि मोदी सरकार युवाओं को प्रति साल दो करोड़ रोजगार नहीं दे पाई अब किसानों से उनकी खेती बारी को कारपोरेट के हाथों बेचने में लगी है, जो मोदी सरकार की मनमानी नहीं चलेगी, आइसा नेता अंसार खान ने कहा कि मोदी सरकार को देश के सभी तबका खासकर किसान मजदूर छात्र युवाओं ने पहचान लिया है याह कंपनियों को फायदा पहुंचाने वाली मोदी सरकार है, इसे सत्ता में बने रहने का अधिकार नहीं है, मुखिया महासंघ के अध्यक्ष नवीन कुमार ने कहा कि मोदी सरकार जनविरोधी है इसे उखाड़ फेंकना होगा, कार्यक्रम में भाकपा-माले नेता सुरेंद्र चौधरी, धर्मनाथ कुशवाहा, योगेंद्र यादव, जोखू चौधरी, विनोद कुशवाहा, फुलदेव कुशवाहा, गहरे खान, मनबोध साह, शेख आजाद, चंदन चौधरी रैफूल गद्दी आदि नेताओं ने भी भारत बंद का नेतृत्व किया।

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